Question -
Answer -
(क) हाशिए पर धकेले जाते मानवीय मूल्य
(ख) पीढ़ी अंतराल
(ग) पाश्चात्य संस्कृति का प्रभाव।
उत्तर:
मेरी समझ में पीढ़ी अंतराल ही ‘सिल्वर वैडिंग’ शीर्षक कहानी की मूल संवेदना है। यशोधर बाबू और उसके पुत्रों में एक पीढ़ी को अंतराल है। इसी कारण यशोधर बाबू अपने परिवार के अन्य सदस्यों के साथ सामंजस्य नहीं बिठा पाते हैं। यह सिद्धांत और व्यवहार की लड़ाई है। यशोधर बाबू सिद्धांतवादी हैं तो उनके पुत्र व्यवहारवादी। आज सिद्धांत नहीं व्यावहारिकता चलती है। यशोधर बाबू के विचार पूरी तरह से पुराने हैं जो नयी पीढ़ी के साथ कहीं भी तालमेल नहीं रखते। पीढ़ी का अंतराल और उनके विचारों का अंतराल यशोधर बाबू और उनके परिवार के सदस्यों में वैचारिक अलगाव पैदा कर देता है।