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Chapter 4 मेरा छोटा सा निजी पुस्तकालय Solutions

Question - 1 : -
लेखक का ऑपरेशन करने से सर्जन क्यों हिचक रहे थे?

Answer - 1 : -

लेखक को तीन-तीन हार्ट अटैक हुए थे। बिजली के झटकों से प्राण तो लौटे, मगर दिल को साठ प्रतिशत भाग नष्ट हो गया। बाकी बचे चालीस प्रतिशत में भी रुकावटें थीं। सर्जन इसलिए हिचक रहे थे कि चालीस प्रतिशत हृदय ऑपरेशन के बाद हरकत में न आया तो लेखक की जान भी जा सकती थी।

Question - 2 : -
‘किताबों वाले कमरे में रहने के पीछे लेखक के मन में क्या भावना थी?

Answer - 2 : -

‘किताबों वाले कमरे में रहने के पीछे लेखक के मन में यह भावना थी कि जिस प्रकार परी कथाओं के अनुसार राजा के प्राण उसके शरीर में नहीं बल्कि तोते में रहते हैं, वैसे ही उसके (लेखक) निकले प्राण अब इन हज़ारों किताबों में बसे हैं, जिन्हें उसने जमा किया है।

Question - 3 : -
लेखक के घर कौन-कौन-सी पत्रिकाएँ आती थीं?

Answer - 3 : -

लेखक के घर वेदोदम, सरस्वती, गृहिणी, बालसखा और चमचम आदि पत्रिकाएँ आती थीं।

Question - 4 : -
लेखक को किताबें पढ़ने और सहेजने का शौक कैसे लगा?

Answer - 4 : -

लेखक के घर में पहले से ही बहुत-सी पुस्तकें थीं। दयानंद की एक जीवनी, बालसखा और ‘चमचम’ पुस्तकें पढ़ते-पढ़ते उसे पढ़ने का शौक लगा। पाँचवीं कक्षा में प्रथम आने पर पुरस्कार स्वरूप मिली दो पुस्तकों को पिताजी की प्रेरणा से उसे सहेजने का शौक लग गया।

Question - 5 : -
माँ लेखक की स्कूली पढ़ाई को लेकर क्यों चिंतित रहती थी?

Answer - 5 : -

माँ लेखक की स्कूली पढाई को लेकर इसलिए चिंतित रहती थी, क्योंकि लेखक हर समय कहानियों की पुस्तकें ही पढ़ता रहता था। माँ सोचती थी कि लेखक पाठ्यपुस्तकों को भी इसी तरह रुचि लेकर पढेगा या नहीं।

Question - 6 : -
स्कूल से ईनाम में मिली अंग्रेजी की पुस्तकों ने किस प्रकार लेखक के लिए नई दुनिया के द्वार खोल दिए?

Answer - 6 : -

पाँचवी कक्षा में फर्स्ट आने पर लेखक को दो पुस्तकें पुरस्कारस्वरूप मिली। उनमें से एक में विभिन्न पक्षियों की जातियों, उनकी बोलियों, उनकी आदतों की जानकारी थी। दूसरी किताब ‘टस्टी दे रग’ में पानी के जहाजों, नाविकों की जिंदगी, विभिन्न प्रकार के द्वीप, वेल और शार्क के बारे में थी। इस प्रकार इन पुस्तकों ने लेखक के लिए नई दुनिया का द्वार खोल दिया।

Question - 7 : -
‘आज से यह खाना तुम्हारी अपनी किताबों का। यह तुम्हारी अपनी लाइब्रेरी है’-पिता के इस कथन से लेखक को क्या प्रेरणा मिली?

Answer - 7 : -

पिता के इस कथन से लेखक के मन पर गहरा प्रभाव पड़ा। लेखक को पुस्तक सहेजकर रखने तथा पुस्तक संकलन करने की प्रेरणा मिली।

Question - 8 : -
लेखक द्वारा पहली पुस्तक खरीदने की घटना का वर्णन अपने शब्दों में कीजिए।

Answer - 8 : -

लेखक पुरानी पुस्तकें खरीदकर पढ़ता और उन्हें बेचकर अगली कक्षा की पुरानी पुस्तकें खरीदता। ऐसे ही एक बार उसके पास दो रुपए बच गए। माँ की आज्ञा से वह देवदास फ़िल्म देखने गया। शो छूटने में देर होने के कारण वह पुस्तकों की दुकान पर चला गया। वहाँ देवदास पुस्तक देखी। उसने डेढ़ रुपए में फ़िल्म देखने के बजाए दस आने में पुस्तक खरीदकर बचे पैसे माँ को दे दिए। इस प्रकार लेखक ने पुस्तकालय हेतु पहली पुस्तक खरीदी।

Question - 9 : -
‘इन कृतियों के बीच अपने को कितना भरा-भरा महसूस करता हूँ’-को आशय स्पष्ट कीजिए।

Answer - 9 : -

लेखक के पुस्तकालय में अनेक भाषाओं के अनेक लेखकों, कवियों की पुस्तकें हैं। इनमें उपन्यास, नाटक, कथा । संकलन, जीवनियाँ, संस्मरण, इतिहास, कला, पुसतात्विक, राजनीतिक आदि अनगिनत पुस्तकें हैं। वह देशी-विदेशी लेखकों, चिंतकों की पुस्तकों के बीच स्वयं को अकेला महसूस नहीं करता। वह स्वयं को भरा-भरा महसूस करता है।

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